सत्य को अपनाने से होती है सत्य की अनुभूति- बद्री प्रसाद आर्य
सत्यखरबर, नरवाना, (सन्दीप श्योरान) :-
डीएवी पब्लिक स्कूल में प्राचार्या डा. रवीन्द्र कौशिक की अध्यक्षता में आर्य समाज के संरक्षक, लेखक व संपादक बद्री प्रसाद आर्य ने सत्य क्या है? विषय पर व्याख्यान कर वैदिक अमृत की। प्राचार्य ने उनके व्यक्तित्व पर प्रकाश डालते हुए बताया कि आचार्य सच्चे आर्य समाजी व मार्गदर्शक हैं। जिन्होंने देश में ही नहीं, बल्कि विदेशों में भी वैदिक व्याख्यान कर वैदिक ज्ञान की ज्योति जलाई। बद्री प्रसाद आर्य ने बताया कि वैदिक धर्म के अलावा ऐसा कोई धर्म नहीं है, जिसने सर्वशक्तिमान सत्ता को स्वीकार किया हो। उन्होंने सत्य की परिभाषा बताते हुए कहा कि जो बात जैसे सुनी, उसे वैसे ही कहना सत्य कहलाता है। सत्य बोलना चाहिए, पर सत्य बोलने से पहले सत्य की व्यापकता और उसके तत्व ज्ञान को जान लेना चाहिए। उन्होंने बच्चों क ो सत्य की राह पर चलने की प्रेरणा दी और कहा कि सत्य कोअपनाने से ही सत्य की अनुभूति होती है।